संरक्षित क्षेत्र का नाम : |
सतपुडा टाईगर रिजर्व |
जिले का नाम : |
होशंगाबाद |
वनमंडल का नाम : |
सतपुड़ा टाईगर रिजर्व (कोर एवं बफर क्षेत्र) |
जी.पी.एस. : |
अक्षांश : 22 डिग्री 22 मिनिट 00 सेकिंड से 22 डिग्री 42 मिनिट 30.0 सेकिंड |
देशांतर : 77 डिग्री 53 मिनिट 28.2 सेकिंड से 78 डिग्री 35 मिनिट 00 सेकिंड |
क्षेत्रफल : |
कोर जोन (1339.26 वर्ग कि.मी.) बफर जोन (794.04 वर्ग कि.मी.) कुल (2133.30 वर्ग कि.मी.) |
जैव विविधता संरक्षण का इतिहास : |
सतपुडा टाईगर रिजर्व नर्मदा नदी के दक्षिण में स्थित सतपुडा पर्वतमाला क्षेत्र में जैव विविधता से समृद्ध वनक्षेत्र है, जो अनेकों लुप्त प्राय: प्रजातियों का रहवास है । इस विशेषता को ध्यान में रखते हुये सतपुडा टाईगर रिजर्व को मध्यप्रदेश के प्रथम बायोस्फियर रिजर्व के रूप में वर्ष 1999 में घोषित किया गया । पचमढी पठार पर साल के घने वन एवं निचले समतल क्षेत्र में सागौन मिश्रित उच्च श्रेणी के वन आच्छादित हैं । यहां हिमालयीन क्षेत्र की 26 एवं नीलगिरी क्षेत्र की 42 प्रजातियॉं पाई जाती हैं, इसी कारण से यह वेस्टर्न घाट केउत्तरी छोर के रूप में भी जाना जाता है ।
यह वृहद भू-भाग बाघ के संरक्षण के लिये एक महत्वपूर्ण वास स्थल है । यह क्षेत्र लगभग 14 लुप्त प्राय: प्रजातियों का घर है, जिसमें उडनगिलहरी, जायंट स्क्वीरल, इंडियन स्कीमर, ब्लैक बेलीड टर्न, लिफ नोजड बैट इस क्षेत्र की विशेषता है । यहांं लगभग 300 से अधिक पक्षियों की प्रजातियॉं पायी जाती है जिनमें मालाबार पाइड हार्नबिल, मालाबार व्हिसलिंग थ्रश एवं मध्यप्रदेश का राज्य पक्षी दूधराज शामिल है । इसके अतिरिक्त बार हेडेड गीज, पिनटेल, स्पाट बिल, स्पून बिल, सुरखाब आदि प्रवासी पक्षी भी शरद ऋतु के दौरान बडे समूह में दिखाई देते हैं । विगत दिनों यहां यूरेशियन ऑटर भी देखा गया है ।
यह क्षेत्र पुरातात्विक दृष्टि से भी बहुत महत्वपूर्ण है, यहां 1500 से 10000 वर्ष पुराने 50 से अधिक शैलचित्र पाये जाते हैं ।
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लेंडस्केप का विवरण : |
सतपुडा टाईगर रिजर्व मध्य भूभाग के हाईलेंड ईको सिस्टम का उत्कृष्ठ उदाहरण है। यह छिंदवाडा, होशंगाबाद, बैतूल, हरदा, खंडवा एवं मेलघाट के वनक्षेत्रों को सम्मिलित करते हुये लगभग 10000 वर्ग कि.मी. के विस्तृत लैंडस्केप का महत्वपूर्ण भाग है ।
सतपुडा-मेलघाट कॉरीडोर के अंतर्गत होशंगाबाद हरदा, उत्तर बैतूल व पश्चिम बैतूल वनमंडल का वनक्षेत्र आता है । इसके अतिरिक्त सतपुडा-पेंंच कॉरीडोर पश्चिम छिंदवाडा एवं उत्तर बैतूल वनमंडल के वनक्षेत्र से होकर गुजरता है ।
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वन का प्रकार : |
यह क्षेत्र सागौन एवं साल वन का अद्भुत संधि स्थल है । पचमढी पठार का 140 वर्ग कि.मी. क्षेत्र साल वन से आच्छादित है जो चारों ओर से सागौन मिश्रित वन से घिरा हुआ है । यहां सात प्रकार के वन पाये जाते हैं जो निम्नानुसार हैं : -
- दक्षिण भारतीय आर्द्र सागौन वन - 3B/C1 (b)
- दक्षिण भारतीय अल्प आर्द्र सागौन वन - 3B/C1 (c)
- दक्षिण भारतीय आर्द्र मिश्रित सागौन वन - 3B/C2 (b)
- दक्षिण ऊष्ण कटिबंधीय शुष्क सागौन वन - 5A/C1 (b)
- दक्षिण ऊष्ण कटिबंधीय शुष्क मिश्रित पर्णपाती वन - 5A/C3
- शुष्क प्रायद्विपीय साल वन - 5B/C1 c(iv)
- केंद्रीय भारतीय उप ऊष्ण कटिबंधीय पहाडी वन - 8A/C3
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वनस्पति एवं वन्यप्राणी : |
यह संरक्षित क्षेत्र अनेक प्रकार की जीव प्रजातियाँ संजोये हुए है। यहाँ 1300 से अधिक वनस्पति प्रजातियाँ पाई जाती है। जिनमें 30 थेलोफाइटस्, 83 ब्रायोफाइटस् तथा 138 टेरिडोफाइटस् प्रजातियाँ महत्वपूर्ण है। प्राणियों में बाघ के अतिरिक्त अन्य महत्वपूर्ण प्रजातियाँ तेंदुआ, जंगली कुत्ता, पैगोलिन, भालू, गौर, अजगर, उड़न गिलहरी, मालाबारी बड़ी गिलहरी एवं मगरमच्छ है। यहाँ 300 से अधिक पक्षी प्रजातियां, 44 स्तनपायी, 31 सरीसृप एवं 500 से अधिक कीट प्रजातियाँ पाई जाती हैं।
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रहवास का विवरण : |
सतपुड़ा टाईगर रिजर्व का क्षेत्र तवा जलाशय का जलग्रहण क्षेत्र है जो विभिन्न प्रकार के आवास स्थलों के मोजेक से मिलकर बना है। यहाँ से 37 ग्रामो के सफल विस्थापन उपरांत, रिक्त स्थानो पर घास मैदान विकसित हो रहे है, जो कि शाकाहारी वन्यप्राणियों के लिए आदर्श वासस्थल बनने के क्रम में है। इसके अतिरिक्त झुरमुट, गुफा, मॉद / खोह, चट्टानी छज्जा, पत्थरों का ढेर,नमक चट्टान एवं लोटन आदि विशेष प्रकार के वास स्थलों का भी क्षेत्र में बाहुल्य है। वन्यप्राणी के पौषण एवं रहवास हेतु नियतकालीन अनुश्रवण एवं प्रबंधकीय हस्तक्षेप की आवश्यकता होती है। |
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पर्यटन जानकारी : |
- सतपुड़ा टाईगर रिजर्व के अंतर्गत पर्यटन स्थल एवं विश्राम भवन :- सतपुड़ा टाईगर रिजर्व के अंतर्गत पर्यटन स्थल पचमढ़ी, मढ़ई एवं चूरना में विश्राम व भ्रमण हेतु पर्यटक निर्धारित प्रक्रिया का पालन कर कक्ष आरक्षित कराया जा सकता है। इस हेतु कार्यालय, क्षेत्र संचालक, सतपुड़ा टाईगर रिजर्व होशंगाबाद में कार्यालयीन दूरभाष क्रमांक/ 07574 254394 या मोबाइल नम्बर 9424792105 पर कार्यालयीन (शासकीय अवकाश दिवसों को छोड़कर) दिवस के दौरान सम्पर्क किया जा सकता है।
- पर्यटन क्षेत्र एवं प्रवेश द्वार :- सतपुड़ा टाईगर रिजर्व में पचमढ़ी, मढ़ई एवं चूरना स्थलों पर पर्यटन सुविधा दी जाती है।
- पचमढ़ी पर्यटन क्षेत्र:- मुख्य रूप से व्यू पाॅइंट, धार्मिक स्थल भ्रमण एवं ट्रेकिंग
- मढ़ई पर्यटन क्षेत्र:-वाहन से पार्क भ्रमण, नौका भ्रमण, केनू से वन्यप्राणी दर्शन
- चूरना पर्यटन क्षेत्र:- वाहन से वन्यप्राणी दर्शन।
विश्राम भवन |
उपलब्ध कक्ष संख्या |
क्षमता (व्यक्ति संख्या) |
पचमढी |
4 |
08 से 12 |
महादेव पचमढी |
3 |
06 से 09 |
मढई |
7 |
14 से 21 |
चूरना |
4 |
08 से 12 |
ईको सेंटर चूरना |
4 |
08 से 12 |
बायसन लॉज |
3 |
06 से 09 |
पहुंच मार्ग :
- रेल मार्ग :
- पचमढी : - जबलपुर - इटारसी मार्ग पर स्थित पिपरिया स्टेशन से 55 कि.मी.
- मढई : - जबलपुर - इटारसी मार्ग पर स्थित पिपरिया स्टेशन से 45 कि.मी. एवं सोहागपुर से 25 कि.मी.
- चुरना : - निकटतम रेलवे स्टेशन इटारसी से 100 कि.मी.
- सड़क मार्ग :
- पचमढी : - भोपाल से 210 कि.मी. एवं पिपरिया से 55 कि.मी.
- मढई : - भोपाल से 145 कि.मी. एवं पिपरिया से 45 कि.मी.
- चुरना : - सडक मार्ग होशंगाबाद - बैतूल मार्ग पर स्थित भौंरा से 50 कि.मी.
- वायु मार्ग :
- भोपाल, जबलपुर, नागपुर से मढई, पचमढी, भौंरा / चूरना सडक मार्ग द्वारा पहुंचा जा सकता है ।
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वेबसाइट संबंधी विवरण : |
सतपुडा टाईगर रिजर्व की वेबसाईट शीघ्र लांच हो रही है । |
क्षेत्र की विशिष्टता : |
सतपुड़ा टाईगर रिजर्व में बाघ, तेंदुआ के अतिरिक्त मालाबार, जायंट स्क्विरल, यूरेशियन ऑटर, स्मूथ कोटेड ऑटर, उड़नगिलहरी, पेंगोलिन एवं द्धरीछ (रैटल) आदि स्तनधारी जीव भी पाये जाते है। इसके अतिरिक्त यहाँ जंगली मुर्गे की दोनों प्रजातियाँ रेड एवं ग्रे पाई जाती है। यहाँ वनस्पतियों की कुछ अत्यंत दुर्लभ प्रजातियाँ लायकोपोडियम, सायलोटम, सायथिया, असमुण्डा, बोट्रीकियम, ओफियोग्लोजम आदि पायी जाती है।
वर्ष 2015 में हार्ड ग्राउंड बारहसिंगा भी सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में पुनः स्थापित किया गया है। |
सम्पर्क सूत्र : |
क्षेत्र संचालक, सतपुडा टाईगर रिजर्व, होशंगाबाद (म.प्र.), फोन: 07574-254394 (कार्यालय), फैक्स: 07574-252133 (कार्यालय), ई-मेल fdsatnp.hbd@mp.gov.in, ddsatnp.hbd@mp.gov.in एवं dirsatpuraNP@mpforest.org |
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